यमकेश्वर गढ़वाल: बैरागड की स्थिति इससे अधिक नाज़ुक हो सकती है ओर आने वाले समय में बैरागड का अस्तित्व ख़तरे में पड़ जायेगा,,,।

यमकेश्वर गढ़वाल: बैरागड की स्थिति इससे अधिक नाज़ुक हो सकती है ओर आने वाले समय में बैरागड का अस्तित्व ख़तरे में पड़ जायेगा,,,।
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यमकेश्वर/पौड़ी गढ़वाल *** यमकेश्वर विकास खंड मे आपदा थमने का नाम नहीं ले रही है प्रदेश में 13 अगस्त की आपदा के बाद आज रात एक बार फिर प्रकृति ने अपना क्रुर रुप दिखाते हुये ग्राम पंचायत सिंदुडी के बैरागड गाँव में भारी तबाही मचाई है। स्थानीय ग्रामीण रात भर भय के साये में घरों से बाहर निकलने को मजबूर हुये यहाँ पर कुत्ता कटली गधेरा ने अचानक ही उफान पर आने के बाद अपना रास्ता बदल दिया और गाँव के बीचों बीच तबाही मचाते हुये हेंवल नदी की ओर बढ़ा जिससे कई घर क्षतिग्रस्त हो गये व कई मलवे में दबे हुये हैं स्थानीय ग्रामीण व पर्यटन व्यवसाययों ने रात भर जागकर लोगों को सचेत किया जिससे एक बड़ी जन हानि को टाला जा सका लेकिन आज की बारीश ने स्थानीय ग्रामीण व पर्यटन ब्यवसायीयों को अत्यधिक नुक़सान का सामना करना पड़ गया, स्थानीय ग्रामीण विनोद जुगलान सुभाष जुगलान अरुण जुगलान नरेंद्र कपरुवांण क्षेत्र पंचायत बूंगा एवं पर्यटन ब्यवसायी सुदेश भट्ट ,भगत राम जोशी, श्रेय शेखर एवं स्थानीय युवाओं के साथ रात भर लोगों को सचेत करने में लगे रहे।

मोहनचट्टी के बैरागढ में भारी तबाही

क्षेत्र पंचायत बूंगा सुदेश भट्ट ने बताया कि बैरागड वर्तमान स्थिति में संपर्क मार्ग से पूर्ण रुप से कट चुका है जिस कारण प्रशासन की ओर से अभी तक किसी प्रकार की कोई राहत नहीं पहुँची है वहीं प्रधान संगठन यमकेश्वर के संरक्षक रामलाल बेलवाल ने सरकार से ग्रामीणों की ओर से शीघ्र से शीघ्र गाँव के दोनों गधेरों की मशीनों द्वारा सफ़ाई की माँग की है व इस बाबत पहले भी वो ज़िलाधिकारी को इस संबंध में सूचित कर चुके हैं उन्होंने बताया कि यदि शीघ्र इन नालों की सफ़ाई का कार्य शुरु नहीं किये जाते तो वर्तमान हालातों को देखते हुये बैरागड की स्थिति इससे अधिक नाज़ुक हो सकती है ओर आने वाले समय में बैरागड का अस्तित्व ख़तरे में पड़ जायेगा।

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